Friday 24 April 2015

गर्मियों में कैसे रखें बालों को खुबसूरत


गर्मियों में बाल बेजान हो जाते हैं, रूसी और बाल झडऩे की परेशानी भी बढ़ जाती है। दरअसल गर्मी में तेज धूप से बहुत पसीना बनता है और त्वचा की नमी बढ़ जाती है। त्वचा के छिद्र अधिक खुल जाते हैं, जिनसे पसीना निकलता है, लेकिन इससे त्वचा की जड़ कमज़ोर पड़ जाती है।
चूंकि सिर की ऊपरी त्वचा पर नमी रहती है, इसलिए बालों के गिरने का खतरा बढ़ जाता है। नमी के कारण खुजली होती है। बार-बार खुजलाने से समस्या बिगड़ती जाती है और बाल गिरने लगते हैं।
बेशक बाल गिरने की समस्या गर्मियों में बढ़ती है, पर यह पूरे साल सताने वाली एक आम समस्या है। बालों की समस्या के कई कारण हैं। हालांकि मुख्यत: दो कारण देखे जाते हैं- आनुवांशिक और खान-पान की समस्या। बाल बढऩे में भी इन कारणों की खास अहमियत है। बाल गिरने के कुछ अन्य कारण भी हैं, जैसे खाने में अधिक मीठा लेना, हानिकारक रसायन युक्त शैम्पू और कंडीशनर का उपयोग, चिंता, तनाव आदि।
कंघी करते हुए दो-चार बाल हाथ आ जाएं तो घबराने की जरूरत नहीं है, क्योंकि यह एक सामान्य प्रक्रिया है। हर दिन 45 से 60 बालों का गिरना स्वाभाविक है। इनकी जगह नए बाल उग आते हैं, लेकिन हर दिन औसत 60 से अधिक बाल गिरने लगे तो चिकित्सक से परामर्श लेना आवश्यक हो जाता है।
सबसे पहले तो आप बालों को नियमित रूप से धोएं। गर्मियों के दिनों में तो बार-बार धोना चाहिए, क्योंकि विलंब करने से सिर की त्वचा तैलीय रह जाती है, बहुत अधिक बाल गिरने लगते हैं, रूसी की समस्या घेर लेती है और बाल रुखे हो जाते हैं। एक अन्य महत्वपूर्ण बात है शैम्पू का चयन, माइल्ड शैंपू का उपयोग करें। बेबी शैम्पू का इस्तेमाल भी किया जा सकता है।
यूं तो बाल गिरना बुढ़ापे की निशानी है, पर आज युवाओं में भी यह आम समस्या है। कम उम्र में बाल गिरने से कभी-कभी निराशा घेर लेती है। कई लोग बाल गिरने के बाद खुद को यार-दोस्तों के बीच जाने के काबिल नहीं मानते हैं। इससे उनमें इतनी हीन भावना आ जाती है कि वे स्वाभिमान खो बैठते हैं और खुद को कम आंकने लगते हैं।

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